मंगल दोष की पूजा कब करनी चाहिए?
मंगल दोष (कुजा दोष) की पूजा के लिए शुभ समय (मुहूर्त) और पूजा-विधि के बारे में जानना अत्यंत महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह पूजा वैवाहिक जीवन, स्वास्थ्य और करियर में आने वाली बाधाओं को दूर करने में सहायक होती है।
मंगल दोष पूजा उज्जैन के मंगलनाथ मंदिर में एक आध्यात्मिक यात्रा है, जो मंगल ग्रह की शांति और जीवन में सुख-समृद्धि लाती है। शुभ समय जैसे मंगलवार, भौम प्रदोष, मृगशिरा नक्षत्र, या नवरात्रि में पूजा करने से इस पूजा का प्रभाव कई गुना बढ़ जाता है।
मंगल दोष, ज्योतिष शास्त्र में एक महत्वपूर्ण दोष है, जो व्यक्ति के जीवन में कई समस्याएँ जैसे- वैवाहिक जीवन में परेशानियां, करियर में रुकावटें, आर्थिक समस्याएं और स्वास्थ्य संबंधी चुनौतियां ला सकता है। यह दोष कुंडली में मंगल ग्रह के अशुभ स्थान (1, 2, 4, 7, 8, या 12वें भाव) में होने से बनता है। उज्जैन का मंगलनाथ मंदिर, जो मंगल ग्रह का जन्मस्थान माना जाता है, मंगल दोष निवारण पूजा के लिए सबसे पवित्र स्थल है।
उज्जैन में मंगल दोष पूजा का महत्व

मंगल दोष पूजा एक वैदिक अनुष्ठान है, जो मंगल ग्रह की अशुभ स्थिति को शांत करने और उसके सकारात्मक प्रभाव को बढ़ाने के लिए किया जाता है। उज्जैन का मंगलनाथ मंदिर इस पूजा के लिए विशेष रूप से प्रसिद्ध है, क्योंकि यह स्थान भगवान मंगल की उत्पत्ति का केंद्र माना जाता है। मंदिर के पास बहने वाली क्षिप्रा नदी इस पूजा की पवित्रता को और बढ़ाती है। यह पूजा न केवल ज्योतिषीय समस्याओं का समाधान करती है, बल्कि भक्तों को मानसिक शांति, आत्मविश्वास और आध्यात्मिक ऊर्जा भी प्रदान करती है।
मंगल दोष पूजा कब की जाती है: शुभ समय
मंगल दोष पूजा तब अधिक प्रभावी होती है, जब इसे शुभ मुहूर्त और विशेष तिथियों पर किया जाए। उज्जैन में यह पूजा वर्षभर की जा सकती है, लेकिन कुछ दिन और समय विशेष रूप से प्रभावशाली माने जाते हैं। नीचे मंगल दोष पूजा के लिए शुभ समय की जानकारी दी गई है, जो सामान्य स्रोतों से अलग और गहन अध्ययन पर आधारित है:
1. सप्ताहिक शुभ दिन: मंगलवार
- मंगलवार मंगल ग्रह का दिन है, और इस दिन पूजा करने से मंगल की नकारात्मक ऊर्जा को शांत करने में विशेष सफलता मिलती है।
- शुभ समय: सुबह 6 बजे से 9 बजे तक या सूर्यास्त के बाद मंगल होरा (Mars Hora) में।
- विशेषता: मंगलवार को मंगलनाथ मंदिर में भक्तों की भीड़ अधिक होती है, और मंगल बीज मंत्र का जाप इस दिन अधिक प्रभावी होता है।
2. मासिक शुभ तिथि: भौम प्रदोष
- भौम प्रदोष वह प्रदोष व्रत है, जो मंगलवार को पड़ता है। इस दिन भगवान शिव और मंगल ग्रह दोनों की पूजा से दोष निवारण तेजी से होता है।
- शुभ समय: सूर्यास्त से रात्रि 8 बजे तक।
- विशेषता: यह तिथि मंगल दोष के साथ-साथ अन्य ग्रह दोषों को भी कम करती है।
3. नक्षत्र आधारित समय: मृगशिरा और चित्रा नक्षत्र
- मृगशिरा और चित्रा नक्षत्र मंगल ग्रह से संबंधित हैं और इन नक्षत्रों में पूजा करने से मंगल की शुभता बढ़ती है और मंगल दोष के नकारात्मक प्रभावों से छुटकारा मिलता है।
- शुभ समय: नक्षत्र के प्रारंभ से मध्यकाल तक (पंचांग से समय जांचें)।
- विशेषता: इन नक्षत्रों में पूजा करने से वैवाहिक और पारिवारिक समस्याओं का समाधान तेजी से होता है।
4. विशेष त्योहार और अवसर
- नवदुर्गा (नवरात्रि): चैत्र और शारदीय नवरात्रि के दौरान मंगल दोष पूजा विशेष फलदायी होती है, खासकर सप्तमी और अष्टमी तिथि पर।
- श्रावण मास: यह मास भगवान शिव को समर्पित है, और मंगलनाथ मंदिर में श्रावण के सोमवार या मंगलवार को पूजा करना अत्यंत शुभ है।
- मंगल जयंती: मंगल ग्रह के उत्पत्ति दिवस (पंचांग के अनुसार) पर पूजा करने से विशेष लाभ मिलता है।
- पितृ पक्ष: पितृ दोष के साथ मंगल दोष की शांति के लिए यह समय उपयुक्त है।
5. वर्ष 2025 के लिए अनुमानित शुभ तिथियां
- मंगलवार: प्रत्येक मंगलवार (विशेष रूप से 13 मई, 19 अगस्त, 7 अक्टूबर 2025)।
- भौम प्रदोष: 28 जनवरी, 11 मार्च, 9 सितंबर 2025।
- नवरात्रि: 22–30 मार्च (चैत्र) और 13–21 अक्टूबर (शारदीय)।
- श्रावण मास: 15 जुलाई–12 अगस्त 2025।
- टिप: सटीक मुहूर्त के लिए स्थानीय पंडित या ज्योतिषी से संपर्क करें, क्योंकि मुहूर्त स्थान और पंचांग पर निर्भर करता है।
6. अन्य शुभ समय
यदि कुंडली में मंगल दोष गंभीर है, तो ज्योतिषी की सलाह पर विशेष तिथियों (जैसे कुंभ विवाह के साथ पूजा) का चयन करें।
मंगल होरा (Mars Hora): प्रत्येक दिन मंगल ग्रह का एक विशेष समय होता है, जो पंचांग में देखा जा सकता है। यह पूजा के लिए शुभ माना जाता है।
अमृत सिद्धि योग: इस योग में पूजा करने से मंगल दोष का प्रभाव स्थायी रूप से कम होता है।
मंगल दोष पूजा के प्रमुख पूजा स्थल
- मंगलनाथ मंदिर, उज्जैन: मंगल ग्रह का जन्मस्थान माना जाता है, जहाँ विशेष भात पूजा की जाती है। मंगलनाथ मंदिर एकमात्र ऐसा मंदिर है जहां मंगल दोष का निवारण पूर्ण रूप से किया जाता है।
मंगल दोष पूजा के लाभ
- इस पूजा को कराने से वैवाहिक जीवन में सुख और समृद्धि मिलती है।
- स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से मुक्ति प्राप्त होती है।
- करियर और व्यवसाय में सफलता के रास्ते खुलते है।
- मानसिक शांति और आत्मविश्वास में वृद्धि होती है।
उज्जैन में मंगल दोष निवारण पूजा कैसे बुक करें?
यदि आप उज्जैन में मंगल दोष पूजा कराना चाहते हैं, तो आज जी उज्जैन के अनुभवी पंडितों से संपर्क कर सकते हैं। पूजा की बुकिंग और अधिक जानकारी के लिए आप नीचे दिये गए नंबर पर कॉल करे और पंडित हरिओम शर्मा जी से संपर्क करें।
Pandit ji namaste,mera 2beti ka aansik Mangal dosh he…me mangalnath mandir me mangalik puja 2beti ka karana chahata hoon,kripa aapka total low budget me Kitana kharch lagega..
कृपया दिये गए नंबर पर निसंकोच कॉल करे।